शनिवार, जनवरी 11, 2014

आशुतोष ‘आप’ के हुए, कहा-चुनाव प्राथमिकता नहीं

नई दिल्ली। जाने माने टीवी पत्रकार आशुतोष ने औपचारिक रूप से आम आदमी पार्टी का दामन थाम लिया है। उन्होंने कहा कि वो पार्टी में आम कार्यकर्ता की हैसियत से काम करेंगे। चुनाव लड़ने या न लड़ने पर फैसला पार्टी को करना है। पार्टी के संयोजक अरविंद केजरीवाल ने आम आदमी की टोपी पहनाकर आशुतोष को पार्टी में शामिल किया।
इस सवाल पर कि क्या लोकप्रियता के घोड़े पर सवार आम आदमी पार्टी का दामन थामना अवसरवादिता का परिचायक नहीं है, आशुतोष ने कहा कि ये जायज सवाल है, लेकिन इतिहास जब आपको अवसर देता है तो आपको उसका उपयोग करना चाहिए। अगर मुझे राजनीति करनी होती तो कई पार्टियों के बड़े नेताओं से मेरा लंबा संपर्क रहा है, मैं ऐसा कभी भी कर सकता था लेकिन आम आदमी पार्टी ने बदलाव की जो मुहिम शुरू की है, मैं उसका हिस्सा बना हूं। आजादी के बाद ये पहला ऐसा ऐतिहासिक मौका देश में आया है और इस मौके पर तटस्थ रहकर नहीं बैठा जा सकता।
आशुतोष ने कहा कि ऐसे कई टीवी चैनलों और अखबारों के संपादक हैं जो बाकायदा राजनीतिक पार्टियों के सदस्य हैं या रहे हैं, महत्वपूर्ण ये है कि मैंने अपने करियर में कभी भी अपनी खुद की विचारधारा को अपने पेशे पर हावी नहीं होने दिया। आशुतोष ने कहा कि मैं केजरीवाल और उनके साथियों का शुक्रगुजार हूं कि उन्होंने मुझे पार्टी में शामिल किया। मैं एक आम कार्यकर्ता की हैसियत से लोगों के बीच जाऊंगा, रैलियां, सभाएं कर पार्टी की बात जनता तक पहुंचाऊंगा। चुनाव लड़ना मेरी प्राथमिकता में नहीं है।
जब उनसे पूछा गया कि आम आदमी पार्टी की तो कोई विचारधारा ही नहीं है तो उनका जवाब था कि आज के दौर में बीजेपी और कांग्रेस की भला क्या विचारधारा है। आम आदमी पार्टी सत्ता को एक क्लास के हाथ से निकालकर आम आदमी के हाथ में देना चाहती है। ये वही विचारधारा है जिसके बारे में खुद गांधी जी ने कहा था कि कतार में खड़े अंतिम आदमी तक सत्ता पहुंचनी चाहिए। ये क्रांति केवल आप की नहीं है। सबकी होनी चाहिए। व्यवस्था वो हो जिसमें आम आदमी की भागीदारी हो।

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