पिछले साल खोजे गए ग्रह डब्लूएएसपी-33बी को वैज्ञानिकों ने सबसे गर्म ग्रह करार दिया है। इस ग्रह की गैसीय सतह का तापमान 3200 डिग्री सेल्सियस बताया गया है। ग्रह को एचडी15082 के नाम से भी जाना जाता है। यह 380 प्रकाश वर्ष दूर एंड्रोमेडा तारा समूह का हिस्सा है। आकार में यह जूपिटर से साढ़े चार गुना बड़ा है।
यह मर्करी से भी सात फीसदी कम दूरी से अपने सूर्य का चक्कर लगा रहा है। अपनी कक्षा में एक चक्कर 29.5 घंटे में लगा लेता है। वैज्ञानिकों को इस ग्रह के वजूद का पता सबसे पहले 2006 में लगा था। इस ग्रह का तापमान अब तक के सबसे गर्म ग्रह से 900 डिग्री सेल्सियस ज्यादा बताया गया है। यह अध्ययन ब्रिटेन स्थित केली यूनिवर्सिटी के वैज्ञानिकों ने किया है।
वैज्ञानिकों ने सबसे पुराने गलैक्सी का भी पता लगाया है। वह गलैक्सी धरती से इतनी दूर है कि वहां से प्रकाश के धरती तक पहुंचने में 13.2 अरब साल लग जाते हैं।
यह मर्करी से भी सात फीसदी कम दूरी से अपने सूर्य का चक्कर लगा रहा है। अपनी कक्षा में एक चक्कर 29.5 घंटे में लगा लेता है। वैज्ञानिकों को इस ग्रह के वजूद का पता सबसे पहले 2006 में लगा था। इस ग्रह का तापमान अब तक के सबसे गर्म ग्रह से 900 डिग्री सेल्सियस ज्यादा बताया गया है। यह अध्ययन ब्रिटेन स्थित केली यूनिवर्सिटी के वैज्ञानिकों ने किया है।
वैज्ञानिकों ने सबसे पुराने गलैक्सी का भी पता लगाया है। वह गलैक्सी धरती से इतनी दूर है कि वहां से प्रकाश के धरती तक पहुंचने में 13.2 अरब साल लग जाते हैं।
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